दामाद को बनाया बेटा, उठा रहे सालो से योजनाओं का अवैध लाभ

 



जहाजपुर दिनेश पत्रिया।

राज्य की अशोक गहलोत की संवेदनशील सरकार जहा पुलिस के हर किसी के मुकदमे दर्ज कर राज्य में काम अपराध होने का दावा कर रही है मगर शक्करगढ़ पुलिस इन्हो दावों की पोल खोलती नजर आ रही है

तीन माह पूर्व शक्करगढ़ पुलिस की चौखट पर पहुंचा एक युवक पुलिस से हीन प्रताड़ित होकर अब अदालत का दरवाजा खटखटाने पर इसीलिए मजबूर हो गया कि उसकी पत्नी और ससुर ने कूट रचित दस्तावेज तैयार कर रिश्तों को तार तार करते हुए युवक को पति को जगह अपना भाई और दामाद की जगह अपना बेटा बनाकर सरकारी योजनाओं का पिछले 5 साल से लाभ उठा रहे है 
ये दर्द भरी कहानी किशनगढ़ पंचायत के मेलवा गाव के युवक रोहित मीणा की है 
रोहित ने शक्करगढ़ पुलिस के सामने अपनी आप बीती सुनाई मगर पुलिस ने रोहित की याचना को नजर अंदाज कर उसे थाने से रुखसत कर दिया बतौर रोहित ने कहा कि साब में इस घर का दामाद हूं इस घर को बेटी सरिता के साथ मेरा 7 वर्ष पूर्व विवाह हुआ था मगर मेरे ससुर और सास ने सारे रिश्तों को कलंकित करते हुए मुझे सरकारी कागजों के इस घर का दामाद के बजाय बेटा बना डाला 
मै शकरगढ़ पुलिस थाने में दीवाली के दिन पुलिस थाने में इस गुहार के साथ पहुंचा की मेरी लक्ष्मी को मुझे लक्ष्मी के रूप में दे दो मगर शक्करगढ़ थाना अधिकारी ने मेरी बात को अनसुना कर चक्कर पर चक्कर कटवाए 3 माह तक शक्करगढ़ पुलिस थाने के चक्कर काटने के बाद अब तक मुझे न्याय नहीं मिला इसीलिए मजबूर होकर न्यायालय की शरण ली 

 रोहित पिता नन्दलाल मीणा आयु 25 वर्ष निवासी मेलवा ने  न्यायालय में इस्तिगासा पेश किया जिसमें बताया कि 
    मेरा विवाह  सरिता पुत्री रामकरण मीणा निवासी लुहारीकला के साथ समाज में प्रचलित रितिरिवाजानुसार मय सप्तपदी के   2 मई 2015 को सम्पन्न हुई थी। विवाह के समय बतौर अमानत मेरे परिजनो ने सरिता को जरजेवर आदि पहनाये जो वर्तमान में सरिता के पास है। विवाह उपरान्त सरिता दो मर्तबा अपने ससुराल आयी। इसी दरमियान उसका व्यवहार लडाई झगडे का रहकर अशोभनीय व्यवहार रहा। विगत पांच वर्षा से सुनिता अकारण अपने पीहर में रह रही है सुनिता को लेने जाने पर धमकी देती है कि मेरा फैसला कर दो आपका जेवर एवं झगडा छोड़ दो मुझे पांच लाख रुपया नगद देकर तलाक दे दो नहीं तो तुम्हें एवं तुम्हारे पूरे परिवार के झूठे दहेज आदि के मुकदमे में फसा दूंगी तुम्हारी जिन्दगी बर्बाद कर दूंगी। सरिता के पिता भी मुझे धमकिया देते है। आज से कुछ समय पूर्व मेरे को जन आधार कार्ड की आवश्यकता हुई तो ऑनलाईन जन आधार कार्ड निकलवाया तो मुझे पता चला कि सरिता ने अपने पिता रामकरण अपने भाई इन्द्रजीत एवं अपनी बहन के साथ मिलकर षडयन्त्र रचते हुए कूटरचित दस्तावेज तैयार करवाकर मुझ प्रार्थी का नाम जन आधार कार्ड संख्या 4784522869 में मुखिया ओमा देवी पत्नि रामकरण निवासी लुहारीकला में कूटरचित दस्तावेज तैयार करके बिना मेरी सहमति जानकारी के  मेरा नाम उक्त जन आधार कार्ड में ओमा देवि ने अपने पुत्र के रूप में दर्ज करवा दिया और मेरी पत्नि को ओमा देवी ने अपनी पुत्री दर्ज करवाया कर जबकि ओमा एवं रामकरण एवं मेरी पत्नि सरिता को यह जानकारी है कि मैं उस घर का पुत्र नहीं होकर उस घर का दामाद  हूं और मेलवा का रहने वाला है। उसके उपरांत भी कूटरचित दस्तावेज तैयार करके मेरा नाम उक्त जन आधार कार्ड में दर्ज करवा दिया एवं उक्त जन आधार कार्ड के जरिये सरकारी खाधान्न आदि प्राप्त कर रहे है। मैंने  मेरा नाम हटवाने का निवेदन किया तो उल्टे मेरे साथ गाली गलौच कर मरने मारने पर आमादा हुये आर मेरी पत्नि ने मुझे झूठे दहेज आदि के मुकदमे में फसाने की धमकिया दी।  घटना की रिपोर्ट 24 अक्टूबर 2022 को थाना शक्करगढ़ में दी उसके उपरांत पुलिस अधिक्षक भीलवाड़ा को दी परन्तु आज तक कोई कार्यवाही नही हुई है।

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